गोविंद देवजी मंदिर में सजेगी द्वादश ज्योतिर्लिंग की झांकी

Ananya soch: Tableau of twelve Jyotirlingas will be decorated in Govind Devji temple
अनन्य सोच। सावन माह के दूसरे सोमवार की पूर्व संध्या पर आराध्य देव गोविंद देवजी मंदिर में रविवार को भगवान शिव की विशेष आराधना के साथ महाकाल का भव्य महाभिषेक किया जाएगा. शनिवार को आयोजन की तैयारियों को अंतिम रूप दिया गया। द्वादश ज्योतिर्लिंगों की मंदिर में परिक्रमा कराई गई. गोविंद और गौरी शंकर के मिलन का अद्भुत दृश्य उत्पन्न हो गया. गोविंद देवजी मंदिर के सेवाधिकारी मानस गोस्वामी ने बताया कि आयोजन पूरी तरह नि:शुल्क रहेगा. श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की सामग्री लाने की आवश्यकता नहीं है. देशभर के प्रमुख शिवधामों में स्थापित द्वादश ज्योतिर्लिंगों के प्रतीक रूपों का सामूहिक पूजन एवं रुद्राभिषेक किया जाएगा.
कार्यक्रम का शुभारंभ सुबह 7 बजे पार्थिव शिवलिंग पूजन से होगा. गायत्री शक्तिपीठ ब्रह्मपुरी के विद्वानों की टोली पूजन संपन्न कराएगी. पूजन की पहली पारी में पूर्व में पंजीयन करवा चुके लोग ही शामिल होंगे. इसके बाद 8 बजे से 12 बजे तक बिना पंजीयन करवाने वाले श्रद्धालु दूध, दही, घी, शहद, गंगाजल व बूरा आदि से सभी ज्योतिर्लिंगों का अभिषेक कर सकेंगे. इसी दौरान 8 से 10 बजे तक पंच कुंडीय शिव-गायत्री महायज्ञ संपन्न होगा. श्रद्धालु महामृत्युंजय एवं गायत्री मंत्रों के साथ आहुतियां अर्पित करेंगे.
सजेगी शिव-पार्वती की सजीव झांकी:
10 से 12 बजे के मध्य कार्यक्रम का मुख्य भाग प्रस्तुत किया जाएगा। शांतिकुंज हरिद्वार से आई टोली के सदस्य भगवान महाकाल के स्वरूप पर विशेष उद्बोधन देंगे. भोलेनाथ के सरस भजन, तथा शिव-पार्वती आधारित सजीव झांकियां आकर्षण का केन्द्र रहेगी. इस दौरान मंदिर परिसर शिवमय वातावरण से गूंज उठेगा. आयोजन का प्रमुख आकर्षण उज्जैन के महाकाल मंदिर की तर्ज पर भस्म आरती रहेगी.